शादी वाले गांव में एक साथ जली तीन चिताएं

-बच्चों का दर्द-पापा अभी तक नहीं आए… वो हमें बाजार ले जाने वाले थे
उरई । शादी वाले गांव मे कुलदीप की मौत को लेकर मासूम बच्चे तथा पत्नी का तो रो-रोकर बुरा हाल तो है ही साथ ही गांव मे भी लोगों की जुवां पर कुलदीप की मौत का जिक्र सुनाई दे रहा है। सभी लोग सिर्फ एक ही बात कह रहे है कि कुलदीप के घर को चलाने वाला दीपक बुझ जाने के कारण अब घर कैसे चलेगा। बच्चे भी पापा कहते हुये कुलदीप को पुकार रहे है। कुलदीप की मौत ने सभी गांव के लोगों को झकझोंर दिया है।
कुलदीप के दोनों बच्चे बार-बार अपने पापा को बुला रहे हैं। वे बोल रहे हैं, पापा ने बाजार ले जाने के लिए बोला था, लेकिन अभी तक वापस नहीं आए। मम्मी भी रो रही हैं। हमें पापा के बारे में कोई कुछ बता ही नहीं रहा है। बस सब यही बोल रहे हैं कि पापा अब नहीं आएंगे। वहीं कुलदीप की पत्नी पति के फोटो को सीने से लगाकर रो रही हैं। वह कह रही हैं, भगवान ने कैसा दिन दिखा दिया। अब मैं किसके सहारे जिंदगी काटूंगी? मेरे बच्चे क्या करेंगे? इस बार वो लड़की का नाम स्कूल में लिखवाने वाले थे। अब कौन मेरी बेटी को स्कूल भेजेगा? अब हम लोग क्या करेंगे? वहीं कुलदीप के पिता घर का सहारा जाने के बाद से बेसुध हैं। यह कहानी है उस कुलदीप के घर की, जिसकी जालौन में हुए सड़क हादसे में मौत हो गई है। वह घर का अकेला सहारा था। उसकी मौत के बाद परिवार में कोई कमाने वाला नहीं बचा है।
बारातियों से भरी बस को डंपर ने मारी थी टक्कर
शनिवार देर रात को 40 बारातियों से भरी बस को डंपर ने टक्कर मार दी थी। टक्कर से बस पलटियां खाती हुई सड़क किनारे खाई में जा गिरी थी। इस हादसे में 5 लोगों की मौत हो गई थी। जबकि 15 से अधिक बाराती घायल हो गए थे। घटना माधौगढ़ कोतवाली क्षेत्र में हुई थी। इस हादसे में मरने वाले 3 लोग जालौन के गांव मढ़ैया के रहने वाले हैं। वहीं दो लोग मध्यप्रदेश के रहने वाले हैं। हादसे में मरने वाले जालौन के तीन लोगों का रविवार को अंतिम संस्कार कर दिया गया। अंतिम संस्कार के समय गांव का हर शख्स दुखी था। जिस गांव में शादी की शहनाई बज रही थी, वहां हर तरफ सन्नाटा पसरा है। सभी ने भारी दिल से तीनों को अंतिम विदाई दी।
कुलदीप घर में अकेला था कमाने वाला
हादसे में 36 साल के कुलदीप की भी मौत हुई है। जिसकी एक 5 साल की बेटी और 3 साल का बेटा है। कुलदीप घर में अकेला कमाने वाला था। घर में बुजुर्ग पिता हैं। कुलदीप के छोटे चचेरे भाई विकल की 10 मई को शादी होनी है। घर पर शादी की तैयारियां चल रही थीं। रिश्तेदार और गांव के लोग घर पर आए हुए थे। कमरे में बैठकर महिलाएं शादी के गाने गा रही थीं। घर में हल्दी की तैयारी चल रही थी। सब लोग खुश थे। रिश्तेदारों-मेहमानों के लिए खाना बन रहा था। सभी लोग खाना खाकर रात में सो गए थे। दूसरी सुबह से घर पर फिर से शादी की रस्में शुरू होने वाली थीं। लेकिन, उससे पहले ही घर पर कुलदीप की मौत की खबर पहुंची। जिसके बाद सब तरफ चीख पुकार मच गई।
बहुओं के स्वागत के लिए ढोल-नंगाड़े बुलवाए गए थे
गांव में भी दो-दो बहुओं के आने की खुशी थी। गांव में बहुओं के स्वागत के लिए ढोल बुलवाए गए थे। लेकिन कुलदीप की मौत के बाद सबको वापस भेज दिया गया। इस हादसे में गांव के 2 और लोगों की मौत हो गई थी। जिनका नाम रघुनंदन और शिरोभान है। रघुनंदन के परिवार का भी रो-रोकर बुरा हाल है। रघुनंदन के तीन लड़के हैं। जिसमें पंकज सबसे बड़ा है। उसकी शादी हो चुकी है। दूसरा बेटा मनोज और तीसरा अभिषेक है। रघुनंदन की एक बेटी भी है। उसकी भी शादी हो चुकी है। रघुनंदन खेती किसानी करता था। उसके बेटे भी वही काम करते थे। हादसे में मरने वाले शिरोभान के भी दो बेटे हैं। जिनकी शादी हो गई है। वो अपने बेटों के साथ मिलकर खेती किसानी का काम करते थे। एक साथ गांव में 3 अर्थी उठने से पूरे गांव में मातम छाया हुआ है। ग्रामीणों का कहना है, हम लोग बहुओं का स्वागत करने की तैयारी कर रहे थे लेकिन क्या पता था अर्थी उठाने की तैयारी करनी पड़ेगी।
झगड़े के बाद बस लेकर निकला था चालक
बारातियों ने बताया कि जयमाल के बाद अचानक वर पक्ष के लोगों की वधू पक्ष के लोगों से किसी बात को लेकर नोकझोंक हो गई। झगड़ा टलने के बाद लोगों ने चालक करन सिंह उर्फ कल्लू से तत्काल बस ले चलने के लिए कहा। जिस पर कल्लू ने रात जगने के कारण थके होने की बात कही। दबाव बनाने पर वह चलने के लिए तैयार हो गया। गेस्टहाउस से बस केवल 20 किलोमीटर ही चली होगी कि अचानक जबरदस्त यह हादसा हो गया।
जालौन हादसे में इनकी मौत हुई
लदीप सिंह (36), रघुनन्दन (46), शिरोभान (65), करन सिंह (34) और विकास (32) की मौत हुई है। करन और विकास एमपी के रहने वाले हैं। उनके शवों को उनके गांव भेज दिया गया है।
हादसे में ये लोग हुए घायल
हादसे में ब्रजेश पुत्र किशोर (40), अशोक पुत्र भोगीलाल (42), विजय पुत्र राजाराम (40), लालता पुत्र राजेंद्र पाल (42), वीर सिंह (37) पुत्र गोपी, शिवशंकर (58) पुत्र छोटे, सुंदर (38) पुत्र लाल सिंह, कल्लू (40) पुत्र सीताराम, शिव सिंह (44) पुत्र भानु, महिपाल (58) पुत्र मंगल, लाल (65) पुत्र काशी प्रसाद घायल हो गए। इसके अलावा, गुड्डू, उदय, जितेंद्र सिंह, सुल्तान, राजेंद्र, लालू पाल भी जख्मी हुए हैं।

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Author: mithlabra